(नील विगडाेर) अमेरिका में चल रहे राष्ट्रपति चुनाव के सर्वे में जो बाइडेन के आगे दिखने पर ट्रम्प समर्थकों ने नया पैंतरा चला है। टम्प समर्थक अब कोलोराडो, टेक्सास, फ्लोरिडा समेत कई प्रांतों में मकान मालिकों की ओर से किराएदारों को नोटिस भेजकर धमकी दे रहे हैं। नोटिस में कहा गया है कि ‘अगर चुनाव में जो बाइडेन की जीत हुई, तो मकान का किराया बढ़ा दिया जाएगा।
अगर ट्रम्प जीते तो दो साल तक किराया नहीं बढ़ाएंगे। हम सिर्फ इतना बताना चाहते हैं कि रिजल्ट के बाद हम क्या कर सकते हैं। अगर ट्रम्प जीते तो हम सब जीत जाएंगे, लेकिन बाइडेन जीते तो फिर हम सब हार जाएंगे।’ सिर्फ यही नहीं, ऑरलैंडो, फ्लोरिडा में औजार बनाने वाली एक कंपनी ने तो बाइडेन के जीतने पर कर्मचारियों को पूरी तरह से कार्यमुक्त करने तक की धमकी दे दी है।
किराएदारों ने की शिकायत
कोलोराडो के सेक्रेटरी ऑफिस ने इस बात की पुष्टि की है कि उन्हें किराएदारों की ओर से शिकायत मिली है। ई-मेल से भेजी गई इस चिट्ठी को अटॉर्नी जनरल को भेजा जाएगा। इसमें किराएदारों को धमकी भरे अंदाज में लिखा गया है कि ‘हम हर चीज की कीमत वसूलेंगे। कृपया इस बात को समझिए कि अगर जो बाइडेन हमारे अगले राष्ट्रपति चुने जाते हैं तो फिर आप जो कुछ भी करेंगे उसके लिए आपको कीमत चुकानी होगी और माहौल पूरी तरह से बदल जाएगा।
हर चीज के दाम बढ़ जाएंगे। जरूरी सामान, गैस, किराने का सामान, नए परमिट्स, फीस और दूसरी सभी चीजें पहले ही महंगी हैं। ऐसे में उनका किराया भी बढ़ा दिया जाएगा, ताकि इन खर्चों को पूरा किया जा सके। यह आशंका भी जताई कि किराया दोगुना भी हो सकता है। वहीं अंत में यह भी लिखा है कि अगर राष्ट्रपति ट्रम्प दोबारा चुने गए तो फिर कम से कम दो सालों तक किराया नहीं बढ़ाया जाएगा। लेकिन, यह सब कुछ चुनाव के नतीजे पर निर्भर करेगा।
बाइडेन जीते तो 20 हजार ज्यादा किराया देना पड़ेगा
काेलाेराडाे के ट्रेलर पार्क में रहने वाले जुआना हर्नांदेज बताते हैं कि वह इस बात काे लेकर परेशान है कि यदि बाइडेन जीत गए ताे उन्हें 20 हजार रुपए का अतिरिक्त किराया भरना पड़ेगा। इधर, अप्रवासियाें के अधिकाराें की वकालत करने वाली सीनेटर जूली गाेंजालिस का कहना है कि चुनाव परिणाम से एक-दाे हफ्ते पहले इस तरह की धमकियों का कोई औचित्य नहीं है।
आरोप: धमकी भरा नोटिस वोटिंग इरादे में बदलाव ला सकता है
अमेरिका में राष्ट्रपति चुनाव के लिए अर्ली वोटिंग शुरू हो गई है। इधर, डेमोक्रेट समर्थकों का कहना है कि स्वाभाविक तौर पर इस नोटिस के बाद यहां रहने वाले लोग दबाव में हैं और वे अपने वोटिंग के इरादे में बदलाव ला सकते हैं। किराएदार मतदाताओं को इस बात की चिंता सता रही है कि मकान मालिक इसके बाद कोई भी बड़ा कदम उठा सकते हैं। इधर, अटॉर्नी जनरल के प्रवक्ता ने कहा कि शिकायत पर अभी अंतिम फैसला नहीं किया गया है। अभी केवल पत्र के तथ्यों की पड़ताल की जा रही है।
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